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पवन कुमार बंसल।
गुस्ताखी माफ़ हरियाणा: आखिर विज क्या चाहते है ?
चर्चा में महाराजाधिराज विज, नौ बज चुके पर दरबार जारी।
आखिर विज क्या चाहते है ?पुलिस की कार्यप्रणाली में सुधार या अपनी छव बना मनोहर को चुनौती..
अभी एक दिन में छह हज़ार शिकयतें सुनने और निपटाने के चर्चा चल ही रही थी की सोशल मीडिया पर खबरे आई की होम मिनिस्टर अनिल विज का दरबार रात के नौ बजे भी चल रहा है।
आखिर विज क्या चाहते है ? यदि पुलिस की वर्किंग को सुधारना चाहते है तो उनके दरबारों से सिस्टम का भठा बैठ रहा है। थानेदार के खिलाफ शिकायत सुनंने के लिए एस पी ,आई जी और फिर डी जी पी है। जब सारी शिकायते विज ने ही सुननी है तो फिर डी जी पी की क्या जरुरत है ?
यदि विज अपनी इमेज बनाकर मनोहर लाल को चुनौती देना चाहते है तो यहाँ भी वे फेल है क्योंकि मनोहर को मोदी का आशीर्वाद है।
विज के दरबार में एक फरियादी का कहना की जिले का एस पी मेरा केस कैंसिल करना चाहता है क्योंकि वो कहता है की उसपर पूर्व चीफ मिनिस्टर हूडा का दवाब है।
यह बात समझ नहीं आई, लेकिन विज ने इस पर यकीन कर लिया। वैसे हूडा दवाब क्यों डालेगा और यदि डाल भी दिया तो एस पी क्यों मनेगा। फिर एस पी शिकायतकर्ता को क्यों कहेगा कि उस पर दवाब है।