समग्र समाचार सेवा
नई दिल्ली, 25जून। विहिप के राष्ट्रीय प्रवक्ता विनोद बंसल ने कहा कि जो राज्य जनजातीय समाज की धार्मिक, सांस्कृतिक मान्यताओं की रक्षा और उसके कल्याण के लिए बना, उसे छोड़ कर सरकार उन मिशनरियों पर पैसा लुटाने में लगी है जो कि वहां के मूल निवासियों के अवैद्य धर्मान्तरण में लगे हैं। अब झारखंड सरकार इसी माह राज्य के ईसाइयों को फ्री में गोवा तीर्थ दर्शन कराएगी।
प्रश्न ये है कि…
1. इस प्रकार की सांप्रदायिक यात्रा कराना क्या ‘सेक्युलर’ सरकार को उचित है!
2. जनजातीय समाज के पैसे का व्यय ईसाइयों पर क्यों!
3. तीर्थ तो हिंदुओं के सुने थे ईसाइयों के कैसे!!
4. यदि यात्रा करानी ही थी तो जनजातीय समाज के तीर्थो की कराते जैसे भगवान बिरसा मुंडा, टंट्या भील, तिलका मांझी, थलक्कल चंथू, बुद्धु भगत, सिद्धू और कान्हू, रेन्डो मांझी, चक्रा विसोई इत्यादि से जुड़े पुण्य स्थल।
5. गोवा के चर्चों से झारखंड का क्या नाता!
6. क्या इस कदम से राज्य में धर्मान्तरण करने वालों को बढ़ावा नहीं मिलेगा!
राज्य सरकार @JharkhandCMO @ChampaiSoren को अपने इस निर्णय पर तुरंत रोक लगाकर यह पैसा जनजातीय समाज के कल्याण में खर्च करना चाहिए ना कि उनका धार्मिक व संस्कृतिक शोषण करने वालों पर।
झारखंड की धर्म-संस्कृति के हत्यारों पर राज्य सरकार द्वारा धन का दुरुपयोग किया जाना निन्दनीय व चिंतनीय है। सरकार द्वारा मिशनरियों को दिया जा रहा यह प्रोत्साहन जनजातीय समाज की भावना के विरुद्ध भी है, जिसे रोका जाना जरूरी है।