राहुल गांधी की विदेश यात्रा में राष्ट्रीय गौरव के प्रतीकों का अपमान : अनुराग ठाकुर
केंद्रीय मंत्री अनुराग सिंह ठाकुर ने राहुल गांधी द्वारा न्यूयॉर्क में दिए वक्तव्य पर दी प्रतिक्रिया
समग्र समाचार सेवा
नई दिल्ली, 03जून। केंद्रीय सूचना प्रसारण एवं खेल व युवा कार्यक्रम मंत्री अनुराग सिंह ठाकुर ने विदेशी दौरे पर गये कांग्रेस नेता राहुल गांधी के कार्यक्रम में राष्ट्र, राष्ट्रगान, राष्ट्रध्वज, के अपमान पर कड़ी प्रतिक्रिया दी है
अनुराग ठाकुर ने कहा “ हर विदेश यात्रा में भारत का अपमान करना राहुल गांधी की आदत बन चुकी है। यह प्रायोजित यात्रा भी उसी और बढ़ रही है। राहुल गांधी जी प्रधानमंत्री मोदी जी का अपमान करना चाहते हैं परंतु अंत तक देश का अपमान करने से भी पीछे नहीं हटते। उनके कार्यक्रम के द्वारा और उनमें लगे नारों से भारत का, भारत के झंडे का, भारत के राष्ट्रगान का अपमान एक सुनियोजित तरीके से किया जा रहा है. इन कार्यक्रमों के पीछे कौन है, किसका मंच है? ये सवाल पिछली बार भी थे आज भी हैं. इसमें भाग लेने वाले कौन हैं? इसका खर्चा उठाने वाले कौन हैं?
आगे बोलते हुए अनुराग ठाकुर ने कहा “राहुल गांधी पूर्व में भी विदेशी धरती से भारत, भारतीय व भारतीयता का अपमान करते आए हैं। वे लगातार भारत के बढ़ते कदमों पर प्रश्नचिन्ह खड़ा करते हैं। राहुल गांधी जी बताएं कि इस प्रायोजित कार्यक्रम के द्वारा वह क्या करना चाहते हैं? क्या विदेश जाकर देश के ऊपर कीचड़ उछालना ही उनका एकमात्र काम बच गया है?
अनुराग ठाकुर ने कहा “एक ओर देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी 6 दिनों की अपने विदेश यात्रा में 2 दर्जन से अधिक राष्ट्र अध्यक्षों से मिलकर 50 से ज्यादा मीटिंग करते हैं। दुनिया भारत के बढ़ते कदमों की चर्चा करती है और भारत को आशा की किरण के रूप में देखती है। दुनिया के नेता कहते हैं कि मोदी जी पूरे विश्व के सबसे लोकप्रिय नेता हैं। एक नहीं कई सर्वे में यह सिद्ध हुआ है। ऑस्ट्रेलिया के प्रधानमंत्री बोलते हैं कि ‘मोदी इज द बॉस’। इटली की प्रधानमंत्री मोदी जी को सबसे लोकप्रिय नेता बताती हैं। पापुआ न्यू गिनी के प्रधानमंत्री मोदी जी का पैर छूकर अभिवादन करते हैं। राहुल गांधी और कांग्रेस इसे हजम नहीं कर पा रहे हैं कि जो 75 वर्षों में नहीं हो पाया वह मोदी जी ने 9 वर्षों में कैसे कर दिया।
“राहुल गांधी जिस कालखंड की बात कर रहे हैं उस दौरान देश और उत्तर प्रदेश सहित अधिकतर प्रदेशों में में कांग्रेस की हीं सरकार थी। 1980 के दशक में दलितों पर अत्याचार होते थे। शायद राहुल गांधी जी अपने वक्तव्य से यह बताना चाहते थे कि उनकी सरकार में दलितों और अल्पसंख्यकों पर अत्याचार होते थे. उनकी हत्याएं की जाती थीं. 1984 में जब सिखों का कत्लेआम हुआ तब इन्ही की सरकार थी. राहुल गाँधी बताएं 1984 में प्रधानमन्त्री कौन था? आज नरेंद्र मोदी जी की सरकार में सबका साथ, सबका विकास, सबका विश्वास और सबका प्रयास के मूलमंत्र के साथ कार्य हो रहे हैं।
इनके समय भारत दुनिया की लड़खड़ाती चरमराती अर्थव्यवस्थाओं में आता था आज मोदी जी के नेतृत्व में भारत दुनिया की पांचवीं सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था है। इनके समय में हिंदुस्तान की परंपराओं का गला घोंटा जाता था। यह हर बात के लिए पश्चिमी संस्कृति की ओर देखते थे। नरेंद्र मोदी जी ने भारतीय संस्कृति, सभ्यता और गौरवपूर्ण इतिहास के पुनर्जागरण का कार्य किया है। कांग्रेस की मानसिकता गुलामी की मानसिकता है। ये हमेशा से भारत और भारतीयता को बदनाम करते आए हैं। यह राहुल गांधी की कुंठा ही तो है कि जब देश में कोई उनकी बात ना सुन रहा हो तो विदेश में प्रायोजित कार्यक्रम करवाओ और सस्ती लोकप्रियता के लिए हल्के बयान दो। मुझे लगता है अपनी नाकामियों को छुपाने के लिए एक सुनियोजित तरीक़े से विदेशी सरजमीं से राहुल गांधी ने भारत को बदनाम करने का ठेका ले रखा है। यह एक बार नहीं बल्कि भारत की संप्रभुता को कमजोर करने का एक सुनियोजित पैटर्न है।”