समग्र समाचार सेवा
देहरादून, 19अक्टूबऱ। उत्तराखंड के विभन्न इलाकों में पिछले दो दिन से लगातार बारिश हो रही है। इस बारिश के कारण जगहजगह से भूस्खलन की खबरें आ रही हैं और नदियां उफान पर हैं। लगातार बारिश के कारण नैनीताल स्थित विश्व प्रसिद्ध नैनी झील का जलस्तर इतना बढ़ गया कि पानी सड़क के ऊपर से बहने लगा।
बद्रीनाथ राष्ट्रीय राजमार्ग पर उफनते लामबगड़ नाले में सोमवार को एक कार फंस गई। बीआरओ की टीम ने कार में फंसे लोगों को मुश्किल से बचाया।
नैनीताल जिले के हल्द्वानी में हल्दूचौड़ और लालकुआं के बीच गौला नदी के तेज बहाव में एक हाथी फंस गया, जिसे वन निभाग ने बाद में जंगल में वापस जाने में मदद की।
लगातार बारिश के कारण नैनीताल स्थित विश्व प्रसिद्ध नैनी झील का जलस्तर इतना बढ़ गया कि पानी सड़क के ऊपर से बहने लगा।
केदारनाथ से वापस लौट रहे 22 श्रद्धालु भारी बारिश के कारण जंगल चट्टी में फंस गए थे, जिन्हें पुलिस और एसडीआरएफ की टीम ने सोमवार को बचा लिया. सभी को गौरीकुंड भेजा गया है. 55 वर्षीय एक श्रद्धालु को स्ट्रेचर की मदद से ले जाया गया।
कुमाऊं में बारिश के कारण मलबे में दबकर अभी तक सात लोगों की मौत हो चुकी है। मंगलवार सुबह नैनीताल जिले के रामगढ़ में धारी तहसील में दोषापानी और तिशापानी में बादल फट गया। इस दौरान मजदूरों की झोपड़ी पर रिटेनिंग दीवार गिर गई। जिसमें सात लोग मलबे में दब गए। जिसमें से लोगों के शव बरामद हुए हैं। उधर, खैरना में झोपड़ी में पत्थर गिरने से दो लोगों की मौत हो गई। चंपावत के तेलवाड़ में एक भूस्खलन की चपेट में आ गया। इस दौरान एक व्यक्ति की मौत हो गई। जबकि तीन लोगों को सुरक्षित निकाल लिया गया है। वहीं, अभी कुछ लोग मलबे में फंसे हैं। चंपावत के तेलवाड़ा में मलबे में दबने से एक युवक की मौत हो गई।
मौसम विभाग ने उत्तराखंड में मंगलवार के लिए भारी बारिश का ऑरेंज अलर्ट जारी किया है। पहले जारी चेतावनी में 19 अक्तूबर को भी रेड अलर्ट घोषित किया गया था।
मौसम विभाग ने उत्तराखंड में अगले 48 घंटे का अलर्ट जारी किया है। बारिश से अभी वहां राहत नहीं मिलने वाली है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने दूरभाष पर प्रदेश में दैवीय आपदा से हुए भारी नुकसान पर संवेदना प्रकट करते हुए राहत व बचाव कार्यों के विषय में जानकारी ली।