सत्य, साहस व सातत्यता इन तीनों गुणों को आत्मसात करने की कार्य पद्धति बनाना, एक अखबार के लिए बहुत महत्त्वपूर्ण होता है:अमित शाह
केन्द्रीय गृह एवं सहकारिता मंत्री श्री अमित शाह महाराष्ट्र के नागपुर में स्वतंत्रता सेनानी और 'लोकमत' के संस्थापक जवाहरलाल जी दर्डा के जन्म शताब्दी वर्ष एवं 'लोकमत नागपुर संस्करण' के 50 वर्ष पूर्ण होने पर आयोजित समारोह में मुख्य अतिथि के रुप में शामिल हुए
समग्र समाचार सेवा
नई दिल्ली, 19 फरवरी। केन्द्रीय गृह एवं सहकारिता मंत्री अमित शाह शनिवार को महाराष्ट्र के नागपुर में स्वतंत्रता सेनानी और ‘लोकमत’ के संस्थापक जवाहरलाल जी दर्डा के जन्म शताब्दी वर्ष एवं ‘लोकमत नागपुर संस्करण’ के 50 वर्ष पूर्ण होने पर आयोजित समारोह में मुख्य अतिथि के रुप में शामिल हुए। अमित शाह ने बाबासाहेब डॉ. भीमराव अंबेडकर जी की दीक्षा भूमि पर जाकर उन्हें श्रद्धांजलि दी । गृह मंत्री श्री अमित शाह ने रेशिम बाग, नागपुर में राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ के संस्थापक डॉ. हेडगेवार जी एवं द्वितीय सरसंघचालक श्री गुरूजी को पुष्पांजलि अर्पित की। लोकमत ग्रुप के 50 वर्ष पूर्ण होने पर आयोजित समारोह में महाराष्ट्र के उपमुख्यमंत्री श्री देवेंद्र फडणवीस और लोकमत मीडिया ग्रुप के अध्यक्ष व पूर्व सांसद विजय दर्डा सहित अनेक गणमान्य व्यक्ति भी उपस्थित रहे।
अमित शाह ने सभी देशवासियों को आज महाशिवरात्रि के शुभ अवसर पर शुभकामनाएं दीं। अपने संबोधन में गृह मंत्री ने कहा कि कोई भी संस्था उसके संचालकों के सत्य, साहस और सातत्य के कारण ही पचास सालों तक निरंतर कार्य कर स्वर्ण जयंती मना सकती है। लोकमत ग्रुप के संचालकों ने भी एक अखबार के लिए महत्वपूर्ण इन तीनों गुणों को आत्मसात कर अपनी कार्यपद्धति बनाई। उन्होंने कहा कि लोकमत ने मासिक से लेकर पाक्षिक,साप्ताहिक और दैनिक संस्करण तक की यात्रा बखूबी तय की तथा वर्तमान में टीवी और ऑनलाइन संस्करण के साथ-साथ अब सोशल मीडिया के माध्यम से भी सूचना को लोकप्रिय और लोकभोग्य बना रहा है। श्री शाह ने कहा कि पत्रकारिता धर्म को संभालते हुए पत्रिका को लोकप्रिय बनाए रखने के साथ-साथ मुनाफा कमाना एक बहुत कठिन काम है जिसे लोकमत समूह ने बहुत अच्छे से किया है, इसके लिए लोकमत समूह को शुभकामनाएं।
केन्द्रीय गृह एवं सहकारिता मंत्री ने कहा कि महाराष्ट्र का पत्रकारिता के क्षेत्र में एक बहुत उज्जवल इतिहास रहा है । उन्होंने कहा कि मराठी पत्रकारिता के जनक बाल शास्त्री जांभेकर ने वर्ष 1832 में सर्वप्रथम ‘दर्पण’ नामक पत्रिका का प्रकाशन शुरू किया और लोकमान्य बाल गंगाधर तिलक ने साल 1881 में ‘केसरी’ पत्रिका की शुरूआत की जिसने ना केवल महाराष्ट्र बल्कि समग्र देश में आजादी की चेतना जागृत करने का काम किया। इसके माध्यम से स्वतंत्रता सेनानी बाल गंगाधर तिलक के विचार महाराष्ट्र के साथ-साथ देश भर के युवाओं तक पहुंचे। श्री शाह ने कहा कि लोकमत भी इसी परंपरा से जुड़ा हुआ है क्योंकि लोकमान्य तिलक ने ही लोकमत का नामकरण किया।
अमित शाह ने कहा कि किसी भी व्यक्ति के जीवन में सिद्धांतों के लिए स्टैंड लेने का समय दो या तीन बार ही आता है जो कि क्षणिक होता है और यही क्षण व्यक्ति को महान बनाता है, अमरत्व देता है। यह स्टैंड सोच समझकर नहीं लिया जाता बल्कि मन से लिया जाता है जो व्यक्ति के संस्कारों,मान्यताओं और सिद्धांतों पर निर्भर करता है। जवाहरलाल दर्डा जी ने आपातकाल के समय सही स्टैंड लेकर इस संस्था का बचाव किया जो कि अपने आप में बहुत बड़ी बात है। उन्होंने कहा कि पत्रकारिता लोकतंत्र का चौथा स्तंभ मानी जाती है। जब भी समाजिक जीवन में थोड़ी ढ़िलाई आती है तो हर क्षेत्र में पतन देखने को मिलता है लेकिन लोकमत ने ऐसे समय में भी अपने सिद्धांतों के आधार पर अपनी यात्रा को जारी रखा और यहां तक पहुंचाया। श्री शाह ने कहा कि स्वर्गीय श्री जवाहर लाल दर्डा जी ने आजादी के आंदोलन में बढ़-चढ़कर हिस्सा लिया और लगभग पौने दो साल जेल में भी रहे। इसके साथ-साथ उन्होंने आजादी के बाद राजनीति में रहते हुए एक अच्छी पत्रिका समाज को देने के लिए इसके उच्च मानकों को गढ़ने का काम किया । उन्होंने कहा कि किसी भी संस्था को चलाने के लिए संस्थापक सिद्धांत या चार्टर बनाते हैं मगर श्री जवाहर लाल ने कोई लिखित चार्टर नहीं बनाया बल्कि अपने जीवन के कृतित्व से ही लोकमत के सभी पत्रकारों व कर्मियों तक चार्टर को व्याख्यायित किया जो कि एक सीखने योग्य बात है।
केन्द्रीय गृह एवं सहकारिता मंत्री ने कहा कि अखबार चलने से संस्थापक की बहुत प्रसिद्धि होती है लेकिन किसी भी अखबार को चलाने के लिए बहुत बड़े यत्न व प्रयासों की आवश्यकता होती है। आज लोकमत के संस्थापकों ने इस संस्था के हर क्षेत्र में काम करने वाले सहकर्मियों को सम्मानित कर एक बहुत अच्छी परंपरा स्थापित की है। उन्होंने कहा कि एक पूर्ण टीम लीडर वही होता है जो संवेदना के साथ पूरी टीम का सम्मान करने की भावना के साथ टीम का विश्वास अर्जित करता है और ऐसा टीम लीडर ही लोगों का भी विश्वास जीत सकता है। श्री शाह ने अपने योगदान के लिए सम्मानित हुए सभी वरिष्ठ कर्मियों को उनके पचास साल तक किए गये कार्य के लिए प्रणाम किया। उन्होंने कहा कि श्री जवाहरलाल जी द्वारा बोया गया लोकमत का यह बीज आज एक विशाल वट वृक्ष बन गया है जो भारत में रोज सवा दो करोड़ पाठकों के हाथ में जाने वाला देश का छठा सबसे बड़ा व महाराष्ट्र और गोवा में नंबर एक अखबार बन गया है। श्री शाह ने कहा कि महाराष्ट्र, गोवा और दिल्ली के छह करोड़ से ज्यादा दर्शक लोकमत टीवी चैनल देखते हैं और अब लोकमत डिजिटल मीडिया में पदार्पण कर चुका है।
अमित शाह ने कहा कि देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी ने आजादी के अमृत महोत्सव को एक सरकारी कार्यक्रम न बनाकर इसे 130 करोड़ जनता का कार्यक्रम बनाने का काम किया है। पिछले एक साल के अंदर देश के हर स्कूल, कॉलेज में आकार ले रही नई पीढ़ी के मन पर आजादी के अमृत महोत्सव की एक अमिट छाप छोड़ने का काम हुआ है जो आज भी जारी है। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी ने आजादी के अमृत महोत्सव में देश की जनता के सामने तीन लक्ष्य रखे। पहला- हमारी नई पीढ़ी के बच्चे,युवा व किशोर आजादी के लिए स्वतंत्रता सेनानियों द्वारा किए गये संघर्ष की जानकारी प्राप्त कर उससे गौरव व संस्कार लेकर अपने जीवन को गढ़ने की संकल्पना करें। दूसरा- भारत की 75 साल की सिद्धियों को जनता के सामने रखना और एक आत्मविश्वास से भरे भारत की रचना करना। पिछले 75 वर्षों में देश ने लोकतंत्र को आत्मसात किया है। आज भारत ने दुनिया की सबसे बड़ी अर्थव्यवस्थाओं की तालिका में हमारे देश पर 150 साल से अधिक समय तक राज करने वाले इंग्लैंड को पीछे छोड़ कर पांचवां स्थान हासिल किया है जो एक बहुत बड़ी उपलब्धि है। उन्होंने कहा कि भारत ने पिछले 75 साल में बिना किसी अहंकार के अपने पुरुषार्थ से दुनिया के सामने अपने आपको सिद्ध किया है। देश ने शिक्षा, अंतरिक्ष, मैन्यूफ़ैक्चरिंग हब बनने और दुनियाभर की डिफ़ेंस इंडस्ट्रीज़ को भारत में लाने से लेकर लोकतांत्रिक मूल्यों की रक्षा करने, टेक्नोलॉजी से गांवों का ट्रांस्फ़ॉरमेशन करने, प्रशासन में टेक्नोलॉजी को आत्मसात कर लोगों की सुविधाएं बढ़ाने व वसुधैव कुटुम्बकम् के संस्कार के साथ समग्र दुनिया की मदद के लिए खड़ा रहने और 60 करोड़ ग़रीबों के जीवन स्तर को ऊपर उठाने तक पिछले 75 साल में बहुत कुछ सिद्ध किया है, यह हर भारतीय के लिए गौरव की बात है। तीसरा – आज़ादी के अमृत काल में प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी ने देश के सामने अगले 25 वर्षों में भारत को हर क्षेत्र में प्रथम बनाने का लक्ष्य रखा है। उन्होंने कहा कि संकल्प से सिद्धी के 25 वर्षों में हर व्यक्ति को संकल्प लेकर भारत को दुनियाभर में हर क्षेत्र में प्रथम बनाना है। शाह ने कहा कि देश की स्वतंत्रता के लिए अपना सर्वस्व न्योछावर करने वाले स्वतंत्रता सेनानियों के सपनों का भारत बनाने के लिए हम सब एक मन, एक दिशा और एक लक्ष्य के साथ आगे बढ़ें। केन्द्रीय गृह मंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी के नेतृत्व में देश ने पिछले क़रीब 9 वर्षों में बहुत कुछ हासिल किया है। उन्होंने कहा कि पहले हमारे देश के लिए कहा जाता था कि अगर हमें अन्य देशों ने हथियार नहीं दिए तो हम अपने देश की रक्षा नहीं कर पाएंगे, आज वही भारत 70 प्रतिशत आत्मनिर्भरता के साथ दुनिया के सामने मज़बूती से खड़ा है। मेक इन इंडिया के स्वप्न को साकार कर आज भारत पूरी दुनिया के सामने मैन्युफैक्चरिंग का हब बन गया है।
कोरोना महामारी का सफलतापूर्वक सामना करने का ज़िक्र करते हुए श्री अमित शाह ने कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी ने कोरोना के खिलाफ लड़ाई को केन्द्र सरकार, राज्य सरकार और देश की 130 करोड़ जनता की लड़ाई बनाकर कोरोना महामारी पर सफलतापूर्वक विजय हासिल की। उन्होंने कहा कि अर्थ जगत के कई विद्वान यह चर्चा करते थे कि भारत में बहुत बड़ी मंदी आएगी, मंदी आई लेकिन भारत इससे बाहर रहा क्योंकि हमारे देश ने सही अर्थ नीति को अपनाया। श्री शाह ने कहा कि कोरोना काल में प्रधानमंत्री मोदी जी ने अनाज के गोदामों के दरवाज़े खोलकर दो साल तक 80 करोड़ लोगों को मुफ़्त अनाज देने का काम किया। उन्होंने कहा कि कई विकसित देश भी 80 करोड़ लोगों को मुफ़्त अनाज देने का साहस नहीं कर सकते, लेकिन जब देश के नागरिकों के प्रति संवेदना होती है तो फ़ैसले फ़ाइलों पर नहीं बल्कि मन और दिमाग़ से लिए जाते हैं।
केन्द्रीय गृह एवं सहकारिता मंत्री ने कहा कि कोरोना काल में देश ने इंफ्रास्ट्रक्चर खड़ा करने की सीख ली और स्वास्थ्य के क्षेत्र में 60 हज़ार करोड़ रुपये का आधारभूत ढांचा खड़ा किया गया। उन्होंने कहा कि जब सरकार देश और जनता के बारे में सोचती है तो फ़ैसले लेने में लेश मात्र की भी देरी नहीं करती। उन्होंने कहा कि मौजूदा सरकार ने कटु से कटु फ़ैसले लिए हैं जिसकी हिम्मत किसी अन्य समर्पित नेता में नहीं हो सकती। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी के नेतृत्व में भारत सरकार ने लोगों को अच्छा लगे ऐसे फ़ैसले कभी नहीं लिए बल्कि लोगों के लिए अच्छे हों ऐसे फ़ैसले बहुत लिए हैं। श्री शाह ने कहा कि लोगों को अच्छा लगे ऐसे फ़ैसले लेना बहुत सरल होता है लेकिन लोगों के लिए अच्छे हों ऐसे निर्णय लेना बहुत मुश्किल है। देश की जनता ने हमेशा प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी के इन फ़ैसलों पर भरोसा किया है और मोदी जी के नेतृत्व में पार्टी ने लगातार एक के बाद एक हर चुनाव जीता है।
अमित शाह ने कहा कि नई हाइड्रोजन नीति से अगले 2-3 साल में ही भारत हाइड्रोजन के क्षेत्र में दुनिया का नेतृत्व करेगा। उन्होंने कहा कि गुरुग्राम में सोलर एनर्जी का हेडक्वार्टर बनना और गैर-परंपरागत ऊर्जा के क्षेत्र में विश्व में अग्रणी बनने के साथ ही भारत नई अंतरिक्ष नीति बनाकर 4-5 साल में ही इस क्षेत्र में भी आगे आ जाएगा। श्री शाह ने कहा कि आज हमारे युवाओं के स्टार्टअप ने दुनिया में अपनी एक अलग पहचान बना ली है और हमारे बहुत सारे युवा मल्टी मिलेनियर बन गए हैं।
केन्द्रीय गृह एवं सहकारिता मंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी के नेतृत्व वाली सरकार ने कभी भी वोट बैंक की राजनीति नहीं की है। श्री नरेन्द्र मोदी जी के सत्ता में आने से पहले कश्मीर,नार्थ-ईस्ट और वामपंथी उग्रवाद प्रभावित क्षेत्र आंतरिक सुरक्षा की दृष्टि से तीन बड़े हॉटस्पॉट थे। प्रधानमंत्री मोदी जी के नेतृत्व में इन तीनों क्षेत्रों में हिंसा में 80 प्रतिशत की कमी लाने का काम किया गया है। श्री शाह ने कहा कि धारा 370 हटने के बाद कुछ लोग संसद में कहते थे कि कश्मीर में खून की नदियां बह जाएंगी लेकिन वहां किसी की कंकड़ फेंकने की भी हिम्मत नहीं हुई। पहले कश्मीर में पथराव होता था और जुलूस निकलते थे, आज यह सब अदृश्य हो गया है और सिनेमाघर चलने लगे हैं और उनमें रात के शो भी होने लगे हैं। एक साल में 1 करोड़ 80 लाख लोगों ने कश्मीर की यात्रा की है जो कि बहुत बड़ी बात है। उन्होंने कहा कि पहले 70 साल में 12 हज़ार करोड़ रुपये का निवेश आया था और अब पिछले तीन साल में 12 हज़ार करोड़ रुपये का निवेश आया है। कश्मीर में हर घर में बिजली और पानी पहुंच गया है।
केन्द्रीय गृह मंत्री ने कहा वामपंथी उग्रवाद में भी बहुत कमी आई है। पहले उच्चतम स्तर पर 160 ज़िले वामपंथी उग्रवाद से प्रभावित थे आज इनकी संख्या सिर्फ़ 46 रह गई है। उन्होंने कहा कि वामपंथी उग्रवाद संबंधी हर प्रकार की हिंसा में औसतन 80 प्रतिशत की कमी आई है। महाराष्ट्र और मध्य प्रदेश की तरह ही बिहार और झारखंड भी वामपंथी उग्रवाद से लगभग मुक्त हो गए हैं। एक छोटा सा इलाक़ा बचा है जहां हमारे केन्द्रीय सशस्त्र पुलिस बलों के जवान वामपंथी उग्रवाद का डटकर सामना कर रहे हैं। गृह मंत्री ने विश्वास जताया कि यहां पर भी भारत सरकार जल्द ही जीत हासिल करेगी। श्री अमित शाह ने कहा कि पूर्वोत्तर में भी पिछले तीन साल में हिंसा में 90 प्रतिशत की कमी आई है। उन्होंने कहा कि आज पूर्वोत्तर में शांति स्थापित हुई और 60 प्रतिशत क्षेत्रों से सशस्त्र बल विशेष अधिकार अधिनियम (AFSPA) हटा लिया गया है। उन्होंने कहा कि उत्तर-पूर्व के 8000 से ज़्यादा युवा हथियार डालकर मुख्य धारा में शामिल हो गए हैं। श्री शाह ने विश्वास जताया कि प्रधानमंत्रीनरेन्द्र मोदी जी ने हम सबके सामने 2047 में भारत को दुनियाभर में पहला देश बनाने का जो संकल्प रखा है वह अवश्य पूरा होगा। उन्होंने कहा कि इसकी नींव रखने का काम पूरा हो चुका है अब इस संकल्प को सिद्धी तक ले जाने का समय है