समग्र समाचार सेवा
नई दिल्ली, 21 जून।भारत आने वाले दशकों में अमरीका के लिए एक महत्वपूर्ण रणनीतिक साझेदार होगा। अमरीका ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अमरीका यात्रा दोनों देशों के बीच गहरे और निकटतम साझेदारी को मजबूत बनाएगी। मोदी, राष्ट्रपति जो बाइडेन और अमरीका की पहली महिला जिल बाइडेन के निमंत्रण पर 21 से 24 जून तक अमरीका दौरे पर हैं। राष्ट्रपति जो बाइडेन और अमरीका की पहली महिला जिल बाइडेन ने मोदी के लिए 22 जून को रात्रि भोज का आयोजन किया है। 22 जून को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी अमरीकी कांग्रेस के संयुक्त सत्र को संबोधित करेंगे।मोदी ने अपने प्रस्थान वक्तव्य में कहा कि राष्ट्रपति बाइडेन और अमरीका की पहली महिला जिल बाइडेन के विशेष निमंत्रण पर अमरीका का यह दौरा दोनों लोकतंत्रों की साझेदारी की शक्ति और उत्साह को दिखाता है।
राष्ट्रीय कूटनीतिक संपर्कों की सुरक्षा परिषद के समन्वयक- एनएससीसीएससी जॉन किर्बी ने कल एक संवाददाता सम्मेलन में कहा कि आने वाले दशकों में भारत अमरीका के लिए एक महत्वपूर्ण रणनीतिक साझेदार होगा। उन्होंने कहा कि हिंद-प्रशांत क्वाड सहित एक अधिक सक्रिय अंतर्राष्ट्रीय भूमिका निभाने की भारत की प्रतिबद्धता दिखती है। यह प्रतिबद्धता एक स्वतंत्र, उनमुक्त और नियम आधारित वैश्विक व्यवस्था के लिए साझा दृष्टिकोण को आगे बढ़ाने और उसकी रक्षा करने के लिए अमरीका के साथ जुड़ने की बढ़ती इच्छा दर्शाती है।
किर्बी ने कहा कि हम आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस, क्वांटम कंप्यूटिंग और स्वच्छ ऊर्जा प्रौद्योगिकी के लिए लचीली आपूर्ति श्रृंखला वर्धन, सेमीकंडक्टर्स, जलवायु परिवर्तन, हमारे कार्यबलों के भविष्य और वैश्विक स्वास्थ्य, ऊर्जा और खाद्य सुरक्षा के भविष्य को लेकर सोचते हैं। ऐसे में भारत से ज्यादा उपयुक्त साझेदार कोई नहीं दिखता है।
किर्बी ने कहा कि दोनों नेता शैक्षणिक आदान-प्रदान और लोगों से लोगों के संपर्कों को बढ़ाने तथा जलवायु परिवर्तन से लेकर कार्यबल का विकास तथा स्वास्थ्य सुरक्षा की साझा चुनौतियों से निपटने के लिए मिलकर काम करने के उपायों पर चर्चा करेंगे।उन्होंने कहा कि विश्व के सबसे पुराने और सबसे बड़़े लोकतंत्र हिंद-प्रशांत में महत्वपूर्ण सुरक्षा प्रदान करने में मुख्य भूमिका निभाते हैं।
किर्बी ने कहा कि हम एक स्वतंत्र और उन्मुक्त हिन्द-प्रशांत कायम रखने के लिए एक दूसरे के साथ मिलकर काम करने की आशा करते है। उन्होंने कहा कि हम नवाचार को बढ़ावा देने के साथ कोविड महामारी जैसी वैश्विक चुनौतियों से मिलकर निपटेंगे।