समग्र समाचार सेवा
नई दिल्ली, 15सितंबर। हर साल भाद्रपद माह के शुक्ल पक्ष की तृतीया तिथि के दिन हरतालिका तीज का व्रत रखा जाता है जो कि सुहागिन महिलाओं के लिए बहुत ही खास माना गया है. यह बहुत ही कठिन व्रत होता है क्योंकि इस दिन महिलाएं निर्जला व्रत करती हैं यानि दिनभर पानी भी ग्रहण नहीं करती. हरतालिका तीज के दिन भगवान शिव और माता पार्वती का पूजन किया जाता है. पूजा के बाद व्रत कथा पढ़ने व सुनने का विधान है. आइए जानते हैं इस बार कब है हरतालिका तीज का व्रत और इसका महत्व.
हरतालिका तीज 2023 कब है?
हर साल भाद्रपद माह के शुक्ल पक्ष की तृतीया तिथि के दिन हरतालिका तीज का व्रत रखा जाता है. पंचांग के अनुसार इस साल यह तिथि 17 सितंबर को सुबह 11 बजकर 8 मिनट पर शुरू होगी और 18 सितंबर को दोपहर 12 बजकर 39 मिनट पर इसका समापन होगा. ऐसे में उदयातिथि के अनुसार हरतालिका तीज का व्रत 18 सितंबर को रखा जाएगा.
हरतालिका तीज 2023 शुभ मुहूर्त
हरतालिका तीज के दिन कई शुभ मुहूर्त बन रहे हैं. पंचांग के अनुसार 18 सितंबर को हरतालिका तीज के दिन सुबह 6 बजकर 7 मिनट से लेकर 8 बजकर 34 मिनट तक पूजा के लिए बेहद ही शुभ मुहूर्त है. इसके बाद सुबह 9 बजकर 11 मिनट से 10 बजकर 43 मिनट पर भी पूजा का मुहूर्त है. यदि इन मुहूर्त में पूजा न कर पाएं तो दोपहर को 3 बजकर 19 मिनट से लेकर शाम 7 बजकर 51 मिनट तक पूजा की जा सकती है. इस दिन रवि योग और इंद्र योग बन रहे हैं.
हरतालिका तीज का महत्व
हिंदू धर्म में हरतालिका तीज का खास महत्व माना गया है. इस दिन भगवान शिव और माता पार्वती का पूजन किया जाता है. सुहागिन महिलाएं यह व्रत अखंड सौभाग्य और सुख-समृद्धि की कामना से रखती हैं. इसके अलावा कुंवारी कन्याएं भी यह व्रत मनचाहे जीवनसाथी की प्राप्ति के लिए रखती हैं. कहते हैं कि जिस पर मां पार्वती की कृपा होती है उनका दांपत्य जीवन हमेशा खुशहाल रहता है.